चमोली पुलिस को विभिन्न माध्यमों से सूचनाएं प्राप्त हुई हैं कि कुछ स्थानों पर शराब पीने वाले असामाजिक तत्व झुंड बनाकर बैठते हैं, जिससे विद्यालय जाने वाली बालिकाएं खुद को असुरक्षित महसूस करती हैं। जबकि कुछ असामाजिक तत्व ट्यूशन जाते समय गलियों में इकट्ठा हो जाते हैं, जिससे बालिकाओं को असुरक्षा की भावना होती है।
पुलिस अधीक्षक चमोली, सर्वेश पंवार ने इस गंभीर मुद्दे का तुरंत संज्ञान लेते हुए इसे प्राथमिकता के आधार पर समाधान करने का निर्णय लिया। उन्होंने सभी थाना प्रभारियों को एक विशेष अभियान “इवनिंग स्टार्म” चलाने के निर्देश दिए। इस अभियान का उद्देश्य उन स्थानों की पहचान करना है, जहां असामाजिक तत्व बालिकाओं के लिए खतरा बने हुए हैं।
ये भी पढ़ें 👉:अनसूया मेले की तैयारियों को लेकर SDM ने की मंदिर समिति और अधिकारियों के संग बैठक
इवनिंग स्टार्म अभियान के तहत पुलिस ने गश्त और चेकिंग अभियान करेगी। पुलिस की टीम उन गली-मोहल्लों में सघन चेकिंग करेगी, जहां पर छात्राएं अक्सर ट्यूशन और विद्यालय जाने के लिए गुजरती हैं। इस तरह के सख्त कदमों से न केवल पुलिस की मौजूदगी बढ़ेगी बल्कि बेलगाम असामाजिक तत्वों पर भी अंकुश लगेगा। यह बालिकाओं में सुरक्षा का एक भाव पैदा करेगा। पुलिस की इस सक्रियता से निश्चित ही छात्राओं की मानसिकता में बदलाव आ सकेगा, और वे बिना किसी डर के अपने शिक्षा के प्रति अग्रसर हो सकेंगी।
पुलिस अधीक्षक सर्वेश पंवार ने कहा कि “बालिकाओं की सुरक्षा पुलिस की सर्वोच्च प्राथमिकता है और इस प्रकार के असामाजिक तत्वों पर लगातार नज़र रखी जा रही है। ‘इवनिंग स्टार्म’ अभियान का उद्देश्य बालिकाओं को सुरक्षित माहौल प्रदान करना और उन्हें बिना किसी डर के शिक्षा प्राप्त करने का अवसर देना है।”
PROBA-3 Mission: इसरो ने PROBA-3 मिशन किया लॉन्च, अब सूर्य के रहस्यों से उठेगा पर्दा
पुलिस अधीक्षक का यह प्रयास न केवल बालिकाओं की सुरक्षा का प्रतीक है, बल्कि यह समाज में एक सकारात्मक संदेश भी फैलाता है कि कानून व्यवस्था को बनाए रखने के लिए पुलिस हमेशा तत्पर है। समाज के सभी वर्गों को अब यह सुनिश्चित करना है कि हम सब मिलकर एक ऐसी परिवेश का निर्माण करें, जिसमें हमारी बेटियाँ सुरक्षित महसूस कर सकें।