गैरसैंण में उत्तराखंड विधानसभा के मानसून सत्र के पहले दिन पूर्व सीएम और कांग्रेस नेता हरीश रावत ने उपवास रखा। गैरसैंण को स्थाई राजधानी बनाने को लेकर उन्होंने 1 घंटे का मौन उपवास रखा।
पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के तहत पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने राज्य की धामी सरकार पर गैरसैण की अपेक्षा का आरोप लगाते हुए कहा कि देहरादून सहित प्रदेश के कई स्थानों पर ग्रीष्मकालीन राजधानी गैरसैण के बड़े-बड़े बोर्ड लगा दिए गए हैं कहा की जिस ग्रीष्मकालीन राजधानी गैरसैण में सीएम सहित सरकार के आला अधिकारियों को गर्मियों में 4 माह सरकार को संचालन करना चाहिए, वही आज यहां एसडीएम वह तहसीलदार के भी पद रिक्त पड़े हुए हैं।
कहा की उन्होंने अपने कार्यकाल में सचिवालय निर्माण के लिए 57 करोड़ की स्वीकृति, गैरसैण चौखुटिया विकास प्राधिकरण सहित कई अन्य विकास के कार्य किए थे। लेकिन भाजपा की सरकार ने गैरसैण की मात्र उपेक्षा का कार्य किया है। पूर्व सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत ने ग्रीष्मकालीन राजधानी के लिए 25000 करोड़, झील निर्माण आदि की घोषणा की थी तो धामी सरकार को उनको आगे बढ़ाने का कार्य करना चाहिए था लेकिन उन्होंने तो गैरसैण को गैर ही बना दिया।
इस अवसर पर पूर्व विधानसभा अध्यक्ष गोविंद सिंह कुंजवाल ने कहा कि भाजपा ने राज्य निर्माण की घोषणा तो की लेकिन राज्य की राजधानी की घोषणा नहीं की जिसका दंश जनता आज भी झेल रही है।
पूर्व सांसद प्रदीप टम्टा ने कहा कि कांग्रेस ही गैरसैण को प्रदेश की राजधानी बनाएगी, कहां की प्रदेश की धामी सरकार सभी मोर्चो पर सफल रही है तथा 2027 के चुनाव में कांग्रेस की बहुमत की सरकार आएगी तथा गैरसैण को प्रदेश की राजधानी बनाया जाएगा।
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इस मौके पर विधायक हरीश धामी, मदन बिष्ट, मनोज तिवारी, अनुपमा रावत, आदेश चौहान, खुशाल अधिकारी, काजी निजामुद्दीन, फुरहान अहमद, पूर्व विधायक ललित फरसवान पूर्व विधायक मनोज रावत सहित कई विधायकों ने पुरे गैरसैण बाजार में कैंडल मार्च में भाग लिया।