विश्व खाद्य दिवस के अवसर पर राजभवन में राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह (से नि) ने पर्यटन विकास परिषद और दून बेकर्स एसोसिएशन के ‘‘सिकदर बेकरी उत्पादों’’ की श्रृंखला का अनावरण किया। इस अवसर पर कैबिनेट मंत्री सतपाल महाराज भी मौजूद रहे।
सिकदर बेकरी उत्पादों की श्रृंखला में सिकदर केक, सिकदर पेस्ट्री और सिकदर कुकीज शामिल हैं। इन उत्पादों को तैयार करने में हिमालयी क्षेत्र की विशेष सामग्री जैसे सी-बकथॉर्न, गोजी बेरीज, केसर और विभिन्न प्रकार के मिलेट्स का प्रयोग किया गया है जो स्वादिष्ट होने के साथ-साथ पोषक तत्वों से भरपूर है। यह बेकरी उत्पाद महान त्रिकोणमिति विशेषज्ञ श्री राधानाथ सिकदर की स्मृति को समर्पित है, जिन्होंने माउंट एवरेस्ट की ऊँचाई को मापने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी।
इस अवसर पर राज्यपाल ने उत्तराखण्ड की खाद्य विशिष्टता को दर्शाते हुए गढ़वाली, कुमाउंनी और जौनसारी पेस्ट्री का अनावरण भी किया। गढ़वाली पेस्ट्री वेनिला एसेंस आधारित पेस्ट्री है जिसमें मुख्य रूप से राज्य के पुष्प, बुरांश का स्वाद है। वहीं कुमाऊंनी पेस्ट्री को अल्मोड़ा के प्रसिद्ध बाल मिठाई के साथ चॉकलेट के स्वाद का मेल कर बनाया गया है, और जौनसारी पेस्ट्री में दूध और अखरोट का उपयोग किया गया है, जो इसे समृद्ध स्वाद प्रदान करता है। ये सभी उत्पाद राज्य के सभी बेकरी, कैफे और होटलों में उपलब्ध कराये जाने के प्रयास होंगे ताकि उत्तराखण्ड आने वाले पर्यटक इस क्षेत्र के स्वादिष्ट व्यंजनों का आनंद ले सकें।
इस अवसर पर राज्यपाल ने कहा कि देहरादून और उत्तराखण्ड अपने खाद्य उत्पादों के लिए प्रसिद्ध है। यहां के मिलेट्स पोषक तत्वों से भरपूर है जिसके कारण पूरी दुनिया में उनकी अलग ही मांग है। उन्होंने अपने उत्पादों में वैल्यू एडिशन करने के लिए प्रयास किए जाने चाहिए। हमारे राज्य की विशिष्टताओं को दर्शाते हुए आज सिकदर बेकरी उत्पादों की श्रृंखला का शुभारंभ किया गया है। उन्होंने कहा कि यह सभी बेकरी, कैफे और होटलों में उपलब्ध रहें ताकि उत्तराखण्ड आने वाले पर्यटक इनका स्वाद चख सकें।
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राज्यपाल ने विश्वास जताया कि इन विशेष उत्पादों के माध्यम से उत्तराखण्ड के स्वाद, संस्कृति और परंपराओं को एक नया आयाम मिलेगा। उन्होंने कहा कि हमारी यह पहल स्थानीय उत्पादों और संस्कृति को बढ़ावा देने के साथ-साथ पर्यटन अनुभव को भी समृद्ध करेगी। उन्होंने कहा कि इन नवाचारों से राज्य के लोगों के साथ ही पर्यटकों को स्थानीय पौष्टिक खाद्य सामग्री उपलब्ध करा पाएंगे, साथ ही इससे स्थानीय लोगों को भी फायदा पहुंचेगा। उन्होंने कहा कि वर्तमान समय में लोग पोषक खान-पान की ओर आकर्षित हो रहे हैं। आज आम जनता का जैविक कृषि पर भरोसा बढ़ रहा है। लोग जैविक खाद्य पदार्थों का उपभोग कर रहे हैं। इसलिए हमें जैविक कृषि और पारंपरिक खेती को वरीयता देनी होगी। उन्होंने इस कार्यक्रम के आयोजन के लिए पर्यटन मंत्री को बधाई और शुभकामनाएं दी।
कैबिनेट मंत्री सतपाल महाराज ने कहा कि राधानाथ सिकदर जी सबसे बड़े विद्वान थे जिन्होंने एवरेस्ट नापा। आज हम उन्हीं को समर्पित करके विश्व खाद्य दिवस मना रहे हैं। इस अवसर पर आज हमें यहां सिकदर बेकरी उत्पादों की श्रृंखला का अनावरण करते हुए भी अपार खुशी हो रही है। प्रसन्नता की बात है कि यह सभी उत्पाद हिमालयी क्षेत्र में पाए जाने वाले तत्वों जैसे सी बकथॉर्न, गोजी बेरीज, केसर और कई प्रकार के बाजरे से तैयार किए गए हैं। इन उत्पादों के बहुत सारे स्वास्थ्य लाभ हैं क्योंकि बताई गई सभी सामग्री में बहुत सारे पोषक तत्व हैं। आज हमें गढ़वाली पेस्ट्री और कुमाउंनी पेस्ट्री के शुभारंभ की घोषणा करते हुए भी खुशी हो रही है।
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कैबिनेट मंत्री ने कहा कि हम उत्तराखण्ड राज्य के सभी बेकरी, कैफे और होटलों में उपरोक्त उत्पादों को उपलब्ध कराने का प्रयास करेंगे, ताकि देवभूमि उत्तराखण्ड आने वाले पर्यटक राज्य के किसी भी हिस्से में इन व्यंजनों का स्वाद ले सकें। उन्होंने कहा कि हम यह भी कोशिश करेंगे कि देवभूमि के धार्मिक और पर्यटन स्थलों में इसे व्यापक रूप से बढ़ावा देने के लिए इन सभी वस्तुओं को बगैर अंडे के ही परोसा जाय।